खुद की सोच को बदलो : Hindi Moral Stories for kids
KHUD KI SOCH KO BADLO-HINDI STORY |
बहुत पुराने समय की बात है एक राजा था जो की एक समृद्धिशाली राज्य पर शासन करता था | एक बार राजा के मन में राज्यभ्रमण की इच्छा हुई ,इसीलिए वह कुछ दिनों के लिए राज्यभ्रमण के लिए निकल पड़ा |
जब वह वापस आया तो उसने बताया की उसके पैर में बहुत दर्द हो रहा है तथा छाले पड गये है क्योंकि इतनी लम्बी यात्रा पर वह पहली बार गया था और सड़के बहुत ही उबड़ खाबड़ थी
तब उसने अपने मंत्रियों को सडकों को चमड़े की चटाइयों से ढकने का आदेश दिया ,अब इसके लिए निश्चित रूप से बहुत सारी निर्दोष गायों का वध करना पड़ता और इसमें लागत भी बहुत आती
ऐसा सोचकर उसके मंत्रियों में से एक ने हिम्मत जुटाकर राजा से कहा -"हे राजन ! इस कार्य के लिए बहुत अधिक मात्रा में चमड़ों की आवश्यकता होगी तथा इसमें बहुत सारी निर्दोष गायें मारी जायेग और इसमें राज्यकोष भी धन भी बहुत खर्च होगा ,इसलिए आप ही अपने पैरों के लिए एक चमड़े के छोटे टुकड़े को उचित आकार में काटकर अपने पैरों में क्यों नही बाँध लेते ,"
राजा को उसका सुझाव अच्छा लगा तथा उसने तुरंत ऐसा करने का आदेश दिया और मंत्री को उचित इनाम भी दिया
Moral Of This Story:-
"इस कहानी से हमें यह शिक्षा मिलती है की हमें दुनिया बदलने के बजाय खुद को बदलने की कोशिश करनी चाहिए "
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